ترجمهٔ معانی قرآن کریم - ترجمه ى هندى * - لیست ترجمه ها

XML CSV Excel API
Please review the Terms and Policies

ترجمهٔ معانی آیه: (101) سوره: سوره مائده
یٰۤاَیُّهَا الَّذِیْنَ اٰمَنُوْا لَا تَسْـَٔلُوْا عَنْ اَشْیَآءَ اِنْ تُبْدَ لَكُمْ تَسُؤْكُمْ ۚ— وَاِنْ تَسْـَٔلُوْا عَنْهَا حِیْنَ یُنَزَّلُ الْقُرْاٰنُ تُبْدَ لَكُمْ ؕ— عَفَا اللّٰهُ عَنْهَا ؕ— وَاللّٰهُ غَفُوْرٌ حَلِیْمٌ ۟
ऐ ईमान वालो! उन चीज़ों के विषय में प्रश्न न करो, जो यदि तुम्हारे लिए प्रकट कर दी जाएँ, तो तुम्हें बुरी लगें, तथा यदि तुम उनके विषय में उस समय प्रश्न करोगे, जब क़ुरआन उतारा जा रहा है, तो वे तुम्हारे लिए प्रकट कर दी जाएँगी। अल्लाह ने उन्हें क्षमा कर दिया और अल्लाह बहुत क्षमा करने वाला, अत्यंत सहनशील[68] है।
68. इब्ने अब्बास (रज़ियल्लाहु अन्हुमा) कहते हैं कि कुछ लोग नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम से उपहास के लिए प्रश्न किया करते थे। कोई प्रश्न करता कि मेरा पिता कौन है? किसी की ऊँटनी खो गई हो, तो आपसे प्रश्न करता कि मेरी ऊँटनी कहाँ है? इसी पर यह आयत उतरी। (सह़ीह़ बुख़ारी : 4622)
تفسیرهای عربی:
 
ترجمهٔ معانی آیه: (101) سوره: سوره مائده
فهرست سوره ها شماره صفحه
 
ترجمهٔ معانی قرآن کریم - ترجمه ى هندى - لیست ترجمه ها

ترجمهٔ معانی قرآن کریم به هندی. ترجمهٔ عزیر الحق عمری.

بستن