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ترجمة معاني سورة: النازعات   آية:

سورة النازعات - सूरा अन्-नाज़िआ़त

من مقاصد السورة:
التذكير بالله واليوم الآخر.
अल्लाह और अंतिम दिन (क़ियामत के दिन) की याद दिलाना।

وَالنّٰزِعٰتِ غَرْقًا ۟ۙ
अल्लाह ने उन फ़रिश्तों की क़सम खाई है, जो बड़ी सख़्ती और अति क्रूरता से काफ़िरों की जान खींचकर निकालते हैं।
التفاسير العربية:
وَّالنّٰشِطٰتِ نَشْطًا ۟ۙ
और अल्लाह ने उन फ़रिश्तों की क़सम खाई है, जो मोमिनों के प्राण बड़ी आसानी और सरलता से निकालते हैं।
التفاسير العربية:
وَّالسّٰبِحٰتِ سَبْحًا ۟ۙ
और अल्लाह ने उन फ़रिश्तों की क़सम खाई है, जो अल्लाह के आदेश से आकाश से धरती की ओर तेज़ी से तैरते हुए आते हैं।
التفاسير العربية:
فَالسّٰبِقٰتِ سَبْقًا ۟ۙ
और अल्लाह ने उन फ़रिश्तों की क़सम खाई है, जो उसके आदेश के पालन में एक-दूसरे से आगे बढ़ जाते हैं।
التفاسير العربية:
فَالْمُدَبِّرٰتِ اَمْرًا ۟ۘ
अल्लाह ने उन फ़रिश्तों की क़सम खाई है, जो अल्लाह के उस फ़ैसले को क्रियान्वित करते हैं, जिसका उसने उन्हें आदेश दिया है, जैसे वे फ़रिश्ते जो बंदों के कार्यों को लिखने पर नियुक्त हैं। अल्लाह ने इन सब की क़सम खाई है कि वह निश्चय लोगों को हिसाब और बदले के लिए ज़रूर पुनर्जीवित करके उठाएगा।
التفاسير العربية:
یَوْمَ تَرْجُفُ الرَّاجِفَةُ ۟ۙ
जिस दिन सूर में पहली फूँक के समय धरती हिलने लगेगी।
التفاسير العربية:
تَتْبَعُهَا الرَّادِفَةُ ۟ؕ
इस फूँक के बाद एक और फूँक मारी जाएगी।
التفاسير العربية:
قُلُوْبٌ یَّوْمَىِٕذٍ وَّاجِفَةٌ ۟ۙ
उस दिन काफ़िरों और पापियों के दिल डरे हुए होंगे।
التفاسير العربية:
اَبْصَارُهَا خَاشِعَةٌ ۟ۘ
उनकी आँखों में अपमान का प्रभाव दिखाई देगा।
التفاسير العربية:
یَقُوْلُوْنَ ءَاِنَّا لَمَرْدُوْدُوْنَ فِی الْحَافِرَةِ ۟ؕ
वे कहा करते थे : क्या हम मरने के बाद ज़िंदगी में लौटेंगे?
التفاسير العربية:
ءَاِذَا كُنَّا عِظَامًا نَّخِرَةً ۟ؕ
क्या जब हम सड़ी-गली खोखली हड्डियाँ हो जाएँगे, उसके बाद फिर लौटेंगे?!
التفاسير العربية:
قَالُوْا تِلْكَ اِذًا كَرَّةٌ خَاسِرَةٌ ۟ۘ
उन्होंने कहा : यदि हम वापस लौटते हैं, तो वह वापसी बड़े घाटे वाली होगी।
التفاسير العربية:
فَاِنَّمَا هِیَ زَجْرَةٌ وَّاحِدَةٌ ۟ۙ
दोबारा जीवित करने का मामला बड़ा आसान है। वह तो केवल सूर फूँकने पर नियुक्त फ़रिश्ते की एक तेज़ आवाज़ होगी।
التفاسير العربية:
فَاِذَا هُمْ بِالسَّاهِرَةِ ۟ؕ
फिर अचानक सभी लोग धरती के ऊपर जीवित होंगे। जबकि पहले वे धरती के भीतर मृत अवस्था में थे।
التفاسير العربية:
هَلْ اَتٰىكَ حَدِیْثُ مُوْسٰی ۟ۘ
(ऐ रसूल) क्या आपके पास मूसा की अपने पालनहार के साथ और अपने दुश्मन फ़िरऔन के साथ की ख़बर पहुँची है?!
التفاسير العربية:
اِذْ نَادٰىهُ رَبُّهٗ بِالْوَادِ الْمُقَدَّسِ طُوًی ۟ۚ
जब उनके पालनहार ने उन्हें 'तुवा' की पवित्र घाटी में पुकारा।
التفاسير العربية:
من فوائد الآيات في هذه الصفحة:
• التقوى سبب دخول الجنة.
• 'तक़वा' जन्नत में प्रवेश करने का कारण है।

• تذكر أهوال القيامة دافع للعمل الصالح.
• क़ियामत के भयावह दृश्यों को याद करना अच्छे काम के लिए प्रेरक है।

• قبض روح الكافر بشدّة وعنف، وقبض روح المؤمن برفق ولين.
• काफ़िर के प्राण को सख़्ती और क्रूरता के साथ और मोमिन के प्राण को आसानी और नरमी के साथ निकाला जाता है।

اِذْهَبْ اِلٰی فِرْعَوْنَ اِنَّهٗ طَغٰی ۟ؗۖ
अल्लाह ने उनसे जो कुछ कहा, उसमें यह भी था : फ़िरऔन के पास जाओ। उसने अत्याचार और अहंकार की हद पार कर दी है।
التفاسير العربية:
فَقُلْ هَلْ لَّكَ اِلٰۤی اَنْ تَزَكّٰی ۟ۙ
फिर उससे कहो : (ऐ फ़िरऔन) क्या तू कुफ़्र और पापों से पवित्र होना चाहता है?
التفاسير العربية:
وَاَهْدِیَكَ اِلٰی رَبِّكَ فَتَخْشٰی ۟ۚ
और मैं तेरे उस पालनहार की ओर तेरा मार्गदर्शन करूँ, जिसने तुझे पैदा किया और तेरी देखभाल की, तो तू उससे डरने लगे। चुनाँचे तू ऐसे कार्य करने लगे, जो उसे प्रसन्न करते हैं और ऐसे कार्यों से बचे, जो उसे क्रोधित करते हैं?
التفاسير العربية:
فَاَرٰىهُ الْاٰیَةَ الْكُبْرٰی ۟ؗۖ
फिर मूसा अलैहिस्सलाम ने उसे इस बात की बड़ी निशानी दिखाई कि वे अपने पालनहार के रसूल हैं। इस निशानी से अभिप्राय हाथ और छड़ी है।
التفاسير العربية:
فَكَذَّبَ وَعَصٰی ۟ؗۖ
तो फ़िरऔन ने इस निशानी को झुठला दिया और मूसा अलैहिस्सलाम ने उसे जो आदेश दिया था, उसकी अवहेलना की।
التفاسير العربية:
ثُمَّ اَدْبَرَ یَسْعٰی ۟ؗۖ
फिर वह मूसा अलैहिस्सलाम के लाए हुए धर्म पर ईमान लाने से मुँह फेर लिया अल्लाह की अवज्ञा करने और सत्य का विरोध करने में परिश्रम करते हुए।
التفاسير العربية:
فَحَشَرَ ۫— فَنَادٰی ۟ؗۖ
फिर वह मूसा अलैहिस्सलाम को पराजित करने के लिए अपनी जाति के लोगों और अपने अनुयायियों को इकट्ठा किया, चुनाँचे उसने पुकार कर कहा :
التفاسير العربية:
فَقَالَ اَنَا رَبُّكُمُ الْاَعْلٰی ۟ؗۖ
मैं तुम्हारा सबसे ऊँचा पालनहार हूँ। इसलिए तुम पर मेरे अलावा किसी दूसरे की आज्ञाकारिता नहीं है।
التفاسير العربية:
فَاَخَذَهُ اللّٰهُ نَكَالَ الْاٰخِرَةِ وَالْاُوْلٰی ۟ؕ
तो अल्लाह ने उसे पकड़ लिया, चुनाँचे उसे इस दुनिया में समुद्र में डूबने के सज़ा दी और आख़िरत में उसे सबसे गंभीर यातना में डालकर दंडित करेगा।
التفاسير العربية:
اِنَّ فِیْ ذٰلِكَ لَعِبْرَةً لِّمَنْ یَّخْشٰی ۟ؕ۠
हमने फ़िरऔन को दुनिया और आख़िरत में जिस रूप में दंडित किया, उसमें अल्लाह से डरने वाले के लिए एक उपदेश है; क्योंकि वही उपदेशों से लाभान्वित होता है।
التفاسير العربية:
ءَاَنْتُمْ اَشَدُّ خَلْقًا اَمِ السَّمَآءُ ؕ— بَنٰىهَا ۟۫
(ऐ मरणोपरांत पुनर्जीवन का इनकार करने वालो) क्या अल्लाह के लिए तुम्हें पैदा करना अधिक कठिन है या आकाश को पैदा करना, जिसे उसने बनाया है?!
التفاسير العربية:
رَفَعَ سَمْكَهَا فَسَوّٰىهَا ۟ۙ
उसने उसके रूप को ऊपर की ओर ऊँचा बनाया और उसे सपाट बना दिया, जिसमें कोई छेद, या दरार, या दोष नहीं है।
التفاسير العربية:
وَاَغْطَشَ لَیْلَهَا وَاَخْرَجَ ضُحٰىهَا ۪۟
और उसकी रात को सूरज के डूबने पर अंधकारमय कर दिया और सूरज के निकलने पर उसकी रोशनी को प्रकट कर दिया।
التفاسير العربية:
وَالْاَرْضَ بَعْدَ ذٰلِكَ دَحٰىهَا ۟ؕ
और आकाश को पैदा करने के बाद धरती को बिछा दिया और उसमें उसके फ़ायदे की चीज़ें रख दीं।
التفاسير العربية:
اَخْرَجَ مِنْهَا مَآءَهَا وَمَرْعٰىهَا ۪۟
उससे बहते (जल) स्रोतों के रूप में उसका पानी निकाला और उसमें ऐसे पौधे उगाए, जो जानवर चरते हैं।
التفاسير العربية:
وَالْجِبَالَ اَرْسٰىهَا ۟ۙ
और पर्वतों को धरती पर मज़बूती से स्थिर कर दिया।
التفاسير العربية:
مَتَاعًا لَّكُمْ وَلِاَنْعَامِكُمْ ۟ؕ
यह सब (ऐ लोगो) तुम्हारे लिए और तुम्हारे मवेशियों के लिए लाभदायक चीज़ें हैं। अतः जिसने यह सब पैदा किया, वह उन्हें नए सिरे से पैदा करने में अक्षम नहीं है।
التفاسير العربية:
فَاِذَا جَآءَتِ الطَّآمَّةُ الْكُبْرٰی ۟ؗۖ
फिर जब सूर में दूसरी बार फूँक मारी जाएगी, जिसकी भयावहता हर चीज़ को घेर लेगी और क़ियामत शुरू हो जाएगी।
التفاسير العربية:
یَوْمَ یَتَذَكَّرُ الْاِنْسَانُ مَا سَعٰی ۟ۙ
जिस दिन क़ियामत आ जाएगी, इनसान अपने किए हुए काम को याद करेगा, चाहे वह अच्छा हो या बुरा।
التفاسير العربية:
وَبُرِّزَتِ الْجَحِیْمُ لِمَنْ یَّرٰی ۟
और जहन्नम को लाया जाएगा और उसे देखने वालों के लिए आँखों के सामने प्रकट कर दिया जाएगा।
التفاسير العربية:
فَاَمَّا مَنْ طَغٰی ۟ۙ
तो जो व्यक्ति गुमराही में हद को पार कर गया।
التفاسير العربية:
وَاٰثَرَ الْحَیٰوةَ الدُّنْیَا ۟ۙ
तथा उसने दुनिया के नश्वर जीवन को आख़िरत के बाकी रहने वाले जीवन पर प्राथमिकता दी।
التفاسير العربية:
فَاِنَّ الْجَحِیْمَ هِیَ الْمَاْوٰی ۟ؕ
तो जहन्नम ही उसका ठिकाना है, जहाँ वह शरण लेगा।
التفاسير العربية:
وَاَمَّا مَنْ خَافَ مَقَامَ رَبِّهٖ وَنَهَی النَّفْسَ عَنِ الْهَوٰی ۟ۙ
41- 42- परंतु जो व्यक्ति अपने पालनहार के सामने खड़ा होने से डर गया और अपने नफ़्स को अल्लाह की हराम की हुई चीज़ का पालन करने से रोक लिया, जिसकी उसका नफ़्स इच्छा करता है, तो जन्नत ही उसका ठिकाना है, जहाँ वह निवास ग्रहण करेगा।
التفاسير العربية:
فَاِنَّ الْجَنَّةَ هِیَ الْمَاْوٰی ۟ؕ
41- 42- परंतु जो व्यक्ति अपने पालनहार के सामने खड़ा होने से डर गया और अपने नफ़्स को अल्लाह की हराम की हुई चीज़ का पालन करने से रोक लिया, जिसकी उसका नफ़्स इच्छा करता है, तो जन्नत ही उसका ठिकाना है, जहाँ वह निवास ग्रहण करेगा।
التفاسير العربية:
یَسْـَٔلُوْنَكَ عَنِ السَّاعَةِ اَیَّانَ مُرْسٰىهَا ۟ؕ
(ऐ रसूल) ये मरणोपरांत पुनः जीवित होने को झुठलाने वाले लोग आपसे पूछते हैं कि क़ियामत कब आएगी?
التفاسير العربية:
فِیْمَ اَنْتَ مِنْ ذِكْرٰىهَا ۟ؕ
आपको इसकी जानकारी नहीं है कि उन्हें बता सकें, और यह आपका काम नहीं है। आपका काम तो उसके लिए तैयारी करना है।
التفاسير العربية:
اِلٰی رَبِّكَ مُنْتَهٰىهَا ۟ؕ
क़ियामत के ज्ञान की अंतिमता केवल तुम्हारे पालनहार की ओर है।
التفاسير العربية:
اِنَّمَاۤ اَنْتَ مُنْذِرُ مَنْ یَّخْشٰىهَا ۟ؕ
आप तो केवल उस व्यक्ति को डराने वाले हैं, जो क़ियामत से डरता है; क्योंकि वही है जो आपके डराने से लाभान्वित होता है।
التفاسير العربية:
كَاَنَّهُمْ یَوْمَ یَرَوْنَهَا لَمْ یَلْبَثُوْۤا اِلَّا عَشِیَّةً اَوْ ضُحٰىهَا ۟۠
जिस दिन वे क़ियामत को अपनी आँखों से देखेंगे, तो (ऐसा समझेंगे) मानो वे अपने सांसारिक जीवन में केवल एक दिन की संध्या या उसकी सुबह ही ठहरे हैं।
التفاسير العربية:
من فوائد الآيات في هذه الصفحة:
• وجوب الرفق عند خطاب المدعوّ.
• आमंत्रित व्यक्ति से बात करते समय नरमी बरतने की अनिवार्यता।

• الخوف من الله وكفّ النفس عن الهوى من أسباب دخول الجنة.
• अल्लाह से डरना और नफ़्स को ख़्वाहिश की पैरवी से रोकना, जन्नत में प्रवेश करने के कारणों में से हैं।

• علم الساعة من الغيب الذي لا يعلمه إلا الله.
• क़ियामत के समय का ज्ञान उस ग़ैब (परोक्ष) से है, जिसे केवल अल्लाह ही जानता है।

• بيان الله لتفاصيل خلق السماء والأرض.
• अल्लाह का आकाश और धरती की रचना का विवरण बयान करना।

 
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