আল-কোৰআনুল কাৰীমৰ অৰ্থানুবাদ - الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم * - অনুবাদসমূহৰ সূচীপত্ৰ


অৰ্থানুবাদ আয়াত: (93) ছুৰা: ছুৰা ইউনুছ
وَلَقَدْ بَوَّاْنَا بَنِیْۤ اِسْرَآءِیْلَ مُبَوَّاَ صِدْقٍ وَّرَزَقْنٰهُمْ مِّنَ الطَّیِّبٰتِ ۚ— فَمَا اخْتَلَفُوْا حَتّٰی جَآءَهُمُ الْعِلْمُ ؕ— اِنَّ رَبَّكَ یَقْضِیْ بَیْنَهُمْ یَوْمَ الْقِیٰمَةِ فِیْمَا كَانُوْا فِیْهِ یَخْتَلِفُوْنَ ۟
और हमने बनी इसराईल को शाम (लेवंत) की धन्य भूमि में एक सुखद स्थान और एक मनभावन ठिकाना दिया और उन्हें हलाल व शुद्ध चीज़ों से जीविका प्रदान की। फिर उन्होंने अपने धर्म के मामले में मतभेद नहीं किया, यहाँ तक कि उनके पास क़ुरआन आ गया, जो मुहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम के उन गुणों एवं विशेषताओं की पुष्टि करने वाला है, जो उन्होंने तौरात में पढ़ा था। फिर जब उन लोगों ने इसका इनकार कर दिया, तो उनके क्षेत्रों को छीन लिया गया। निश्चय ही (ऐ रसूल!) आपका पालनहार क़ियामत के दिन उनके बीच उस चीज़ के बारे में फ़ैसला कर देगा, जिसमें वे मतभेद कर रहे थे। फिर वह उनमें से सत्यवादी और असत्यवादी को वह बदला देगा, जिसका उन दोनों में से प्रत्येक हक़दार होगा।
আৰবী তাফছীৰসমূহ:
এই পৃষ্ঠাৰ আয়াতসমূহৰ পৰা সংগৃহীত কিছুমান উপকাৰী তথ্য:
• وجوب الثبات على الدين، وعدم اتباع سبيل المجرمين.
• धर्म पर मज़बूती से जमे रहने और अपराधियों के मार्ग पर न चलने की अनिवार्यता।

• لا تُقْبل توبة من حَشْرَجَت روحه، أو عاين العذاب.
• जिसके प्राण निकल रहे हों, या जो यातना को अपनी आँखों से देख ले, उसकी तौबा स्वीकार नहीं की जाती है।

• أن اليهود والنصارى كانوا يعلمون صفات النبي صلى الله عليه وسلم، لكن الكبر والعناد هو ما منعهم من الإيمان.
• यहूदी और ईसाई नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम की विशेषताओं को जानते थे, परंतु अहंकार और हठ ने उन्हें ईमान लाने से रोक दिया।

 
অৰ্থানুবাদ আয়াত: (93) ছুৰা: ছুৰা ইউনুছ
ছুৰাৰ তালিকা পৃষ্ঠা নং
 
আল-কোৰআনুল কাৰীমৰ অৰ্থানুবাদ - الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم - অনুবাদসমূহৰ সূচীপত্ৰ

الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم، صادر عن مركز تفسير للدراسات القرآنية.

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