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আল-কোৰআনুল কাৰীমৰ অৰ্থানুবাদ - মাৰাঠী অনুবাদ- মুহাম্মদ শ্বফী আনচাৰী * - অনুবাদসমূহৰ সূচীপত্ৰ


অৰ্থানুবাদ আয়াত: (214) ছুৰা: আল-বাক্বাৰাহ
اَمْ حَسِبْتُمْ اَنْ تَدْخُلُوا الْجَنَّةَ وَلَمَّا یَاْتِكُمْ مَّثَلُ الَّذِیْنَ خَلَوْا مِنْ قَبْلِكُمْ ؕ— مَسَّتْهُمُ الْبَاْسَآءُ وَالضَّرَّآءُ وَزُلْزِلُوْا حَتّٰی یَقُوْلَ الرَّسُوْلُ وَالَّذِیْنَ اٰمَنُوْا مَعَهٗ مَتٰی نَصْرُ اللّٰهِ ؕ— اَلَاۤ اِنَّ نَصْرَ اللّٰهِ قَرِیْبٌ ۟
२१४. काय तुम्ही अशी कल्पना करून बसलात की जन्नतमध्ये अगदी सहजपणे प्रवेश कराल? वास्तविक अजून तुमच्यावर ती अवस्था नाही आली, जी तुमच्या पूर्वीच्या लोकांवर आली होती. त्यांना सक्त गरीबी व रोगराईचा सामना करावा लागला. त्यांना इतके झिंजोडले गेले की रसूल (पैगंबर) आणि त्यांच्या सोबतचे ईमानधारक लोक म्हणून लागले की अल्लाहची मदत केव्हा येईल ? ऐका अल्लाहची मदत जवळच आहे!
আৰবী তাফছীৰসমূহ:
 
অৰ্থানুবাদ আয়াত: (214) ছুৰা: আল-বাক্বাৰাহ
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আল-কোৰআনুল কাৰীমৰ অৰ্থানুবাদ - মাৰাঠী অনুবাদ- মুহাম্মদ শ্বফী আনচাৰী - অনুবাদসমূহৰ সূচীপত্ৰ

ইয়াক অনুবাদ কৰিছে মুহাম্মদ শ্বাফী আনচাৰী।

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