કુરઆન મજીદના શબ્દોનું ભાષાંતર - الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم * - ભાષાંતરોની અનુક્રમણિકા


શબ્દોનું ભાષાંતર આયત: (15) સૂરહ: અલ્ ફજર
فَاَمَّا الْاِنْسَانُ اِذَا مَا ابْتَلٰىهُ رَبُّهٗ فَاَكْرَمَهٗ وَنَعَّمَهٗ ۙ۬— فَیَقُوْلُ رَبِّیْۤ اَكْرَمَنِ ۟ؕ
जहाँ तक इनसान का मामला है, तो उसका स्वभाव यह है कि यदि उसका पालनहार उसका परीक्षण करे और उसे सम्मानित करे, तथा उसे धन, संतान और प्रतिष्ठा प्रदान करे, तो वह सोचता है कि यह उसे अल्लाह के निकट सम्मान प्राप्त होने के कारण है। चुनाँचे वह कहता है : मेरे पालनहार ने मुझे सम्मानित किया, क्योंकि मैं उसके सम्मान के योग्य था।
અરબી તફસીરો:
આયતોના ફાયદાઓ માંથી:
• فضل عشر ذي الحجة على أيام السنة.
• ज़िल-हिज्जा के महीने के (प्रथम) दस दिनों की साल के अन्य दिनों पर श्रेष्ठता।

• ثبوت المجيء لله تعالى يوم القيامة وفق ما يليق به؛ من غير تشبيه ولا تمثيل ولا تعطيل.
• क़ियामत के दिन अल्लाह का अपनी महिमा के योग्य आने का सबूत। लेकिन उसके आने को न किसी के आने के समान कहा जाएगा, न उसका उदाहरण दिया जाएगा और न उसका इनकार किया जाएगा।

• المؤمن إذا ابتلي صبر وإن أعطي شكر.
• मोमिन को जब आज़माया जाता है, तो सब्र करता है और जब नेमत दिया जाता है, तो शुक्रिया अदा करता है।

 
શબ્દોનું ભાષાંતર આયત: (15) સૂરહ: અલ્ ફજર
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الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم، صادر عن مركز تفسير للدراسات القرآنية.

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