Traduzione dei Significati del Sacro Corano - الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم * - Indice Traduzioni


Traduzione dei significati Versetto: (88) Sura: Al-Baqarah
وَقَالُوْا قُلُوْبُنَا غُلْفٌ ؕ— بَلْ لَّعَنَهُمُ اللّٰهُ بِكُفْرِهِمْ فَقَلِیْلًا مَّا یُؤْمِنُوْنَ ۟
मुहम्मद (सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम) का अनुसरण न करने का यहूदियों का तर्क उनका यह कहना था : वास्तव में, हमारे दिलों पर पर्दे पड़े हुए हैं, आप जो कहते हैं, उसमें से कुछ भी उन तक नहीं पहुँचता और वे उसे नहीं समझते हैं। हालाँकि स्थिति वैसी नहीं है जैसा उन्होंने दावा किया है। बल्कि सच्चाई यह है कि उनके कुफ़्र के कारण अल्लाह ने उन्हें अपनी रहमत से दूर कर दिया। अतः वे अल्लाह की उतारी हुई बातों में से केवल बहुत कम ही पर ईमान लाते हैं।
Esegesi in lingua araba:
Alcuni insegnamenti da trarre da questi versi sono:
• من أعظم الكفر: الإيمان ببعض ما أنزل الله والكفر ببعضه؛ لأن فاعل ذلك قد جعل إلهه هواه.
• सबसे बड़े कुफ़्र में से एक : अल्लाह की उतारी हुई शरीयत के कुछ भाग पर ईमान लाना और कुछ भाग का इनकार करना है; क्योंकि ऐसा करने वाले ने दरअसल अपनी इच्छा को अपना पूज्य बना लिया है।

• عِظَم ما بلغه اليهود من العناد، واتباع الهوى، والتلاعب بما أنزل الله تعالى.
• यहूदी हठ, इच्छा का पालन करने और अल्लाह की उतारी हुई शरीयत के साथ खिलवाड़ करने में बहुत अधिक बढ़े हुए थे।

• فضل الله تعالى ورحمته بخلقه، حيث تابع عليهم إرسال الرسل وإنزال الكتب لهدايتهم للرشاد.
• अल्लाह की अपनी सृष्टि पर कृपा और दया। क्योंकि उसने उन्हें सीधी राह दिखाने के लिए लगातार रसूल भेजे और किताबें उतारीं।

• أن الله يعاقب المعرضين عن الهدى المعاندين لأوامره بالطبع على قلوبهم وطردهم من رحمته؛ فلا يهتدون إلى الحق، ولا يعملون به.
• अल्लाह तआला हिदायत से मुँह फेरने वालों और उसके आदेशों की अवहेलना करने वालों के दिलों पर मुहर लगाकर और उन्हें अपनी रहमत से दूर करके दंडित करता है; चुनाँचे न वे सत्य की ओर मार्गदर्शन पाते हैं और न उसपर अमल करते हैं।

 
Traduzione dei significati Versetto: (88) Sura: Al-Baqarah
Indice delle Sure Numero di pagina
 
Traduzione dei Significati del Sacro Corano - الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم - Indice Traduzioni

الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم، صادر عن مركز تفسير للدراسات القرآنية.

Chiudi