పవిత్ర ఖురాన్ యొక్క భావార్థాల అనువాదం - الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم * - అనువాదాల విషయసూచిక


భావార్ధాల అనువాదం వచనం: (6) సూరహ్: సూరహ్ అల్-ఫుర్ఖాన్
قُلْ اَنْزَلَهُ الَّذِیْ یَعْلَمُ السِّرَّ فِی السَّمٰوٰتِ وَالْاَرْضِ ؕ— اِنَّهٗ كَانَ غَفُوْرًا رَّحِیْمًا ۟
(ऐ रसूल!) इन झुठलाने वालों से कह दें : क़ुरआन को उस अल्लाह ने उतारा है, जो आकाशों और धरती की हर बात को जानता है। क़ुरआन गढ़ा हुआ नहीं है, जैसा कि तुमने दावा किया है। फिर उन्हें तौबा की प्रेरणा देते हुए कहा : अल्लाह अपने तौबा करने वाले बंदों को माफ़ करने वाला, उनपर दया करने वाला है।
అరబీ భాషలోని ఖుర్ఆన్ వ్యాఖ్యానాలు:
ఈ పేజీలోని వచనాల ద్వారా లభించే ప్రయోజనాలు:
• اتصاف الإله الحق بالخلق والنفع والإماتة والإحياء، وعجز الأصنام عن كل ذلك.
• सत्य पूज्य का पैदा करने, लाभ पहुँचाने, मृत्यु एवं जीवन देने के गुणों से परिपूर्ण होना, जबकि मूर्तियों का यह सब करने में अक्षम होना।

• إثبات صفتي المغفرة والرحمة لله.
• अल्लाह के लिए 'क्षमा' एवं 'दया' के गुणों का प्रमाण।

• الرسالة لا تستلزم انتفاء البشرية عن الرسول.
• पैगंबरी के लिए यह आवश्यक नहीं है कि पैगंबर मानव जाति में से नहीं होना चाहिए।

• تواضع النبي صلى الله عليه وسلم حيث يعيش كما يعيش الناس.
• नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम की विनम्रता कि आप वैसे ही रहते थे जैसे लोग रहते थे।

 
భావార్ధాల అనువాదం వచనం: (6) సూరహ్: సూరహ్ అల్-ఫుర్ఖాన్
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الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم، صادر عن مركز تفسير للدراسات القرآنية.

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