పవిత్ర ఖురాన్ యొక్క భావార్థాల అనువాదం - الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم * - అనువాదాల విషయసూచిక


భావార్ధాల అనువాదం వచనం: (14) సూరహ్: సూరహ్ సబా
فَلَمَّا قَضَیْنَا عَلَیْهِ الْمَوْتَ مَا دَلَّهُمْ عَلٰی مَوْتِهٖۤ اِلَّا دَآبَّةُ الْاَرْضِ تَاْكُلُ مِنْسَاَتَهٗ ۚ— فَلَمَّا خَرَّ تَبَیَّنَتِ الْجِنُّ اَنْ لَّوْ كَانُوْا یَعْلَمُوْنَ الْغَیْبَ مَا لَبِثُوْا فِی الْعَذَابِ الْمُهِیْنِ ۟
फिर जब हमने सुलैमान अलैहिस्सलाम पर मौत का निर्णय कर दिया, तो जिन्नों को इस बात की सूचना कि वह मर चुके हैं केवल उस घुन के माध्यम से मिली, जो उनकी उस लाठी को खा रहा था, जिसपर सुलैमान अलैहिस्सलाम टेक लगाए हुए थे। फिर जब वह गिर गए, तो जिन्नों के सामने यह स्पष्ट हो गया कि उनके पास गैब (परोक्ष) की जानकारी नहीं है; क्योंकि यदि वे गैब की बात जानते, तो उस अपमानजनक यातना में न रहते। इससे अभिप्राय वे कठिन काम हैं जो वे सुलैमान अलैहिस्सलाम के लिए करते रहे, यह सोचकर कि वह जीवित हैं और उन्हें देख रहे हैं।
అరబీ భాషలోని ఖుర్ఆన్ వ్యాఖ్యానాలు:
ఈ పేజీలోని వచనాల ద్వారా లభించే ప్రయోజనాలు:
• تكريم الله لنبيه داود بالنبوة والملك، وبتسخير الجبال والطير يسبحن بتسبيحه، وإلانة الحديد له.
• अल्लाह का अपने नबी दाऊद को नुबुव्वत और राज्य से सम्मानित करना, तथा पहाड़ों एवं चिड़ियों को उनके वश में कर देना, जो उनके साथ अल्लाह की तस्बीह दोहराती थीं। और उनके लिए लोहे को नरम करना।

• تكريم الله لنبيه سليمان عليه السلام بالنبوة والملك.
• अल्लाह का अपने नबी सुलैमान अलैहिस्सलाम को नुबुव्वत और राज्य से सम्मानित करना।

• اقتضاء النعم لشكر الله عليها.
• नेमतों की अपेक्षा यह है कि उनपर अल्लाह का शुक्रिया अदा किया जाए।

• اختصاص الله بعلم الغيب، فلا أساس لما يُدَّعى من أن للجن أو غيرهم اطلاعًا على الغيب.
• परोक्ष (गैब) की जानकारी केवल अल्लाह के साथ विशिष्ट है। अतः इस बात का कोई आधार नहीं है जो यह दावा किया जाता है कि जिन्न या अन्य को परोक्ष का ज्ञान है।

 
భావార్ధాల అనువాదం వచనం: (14) సూరహ్: సూరహ్ సబా
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الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم، صادر عن مركز تفسير للدراسات القرآنية.

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