अरबी भाषा - अल-मुख़तर फ़ी तफ़सीर अल-क़ुरआन अल-करीम * - अनुवादों की सूची


आयत: (52) सूरा: सूरा अन्-नम्ल
فَتِلۡكَ بُيُوتُهُمۡ خَاوِيَةَۢ بِمَا ظَلَمُوٓاْۚ إِنَّ فِي ذَٰلِكَ لَأٓيَةٗ لِّقَوۡمٖ يَعۡلَمُونَ
فتلك بيوتهم قد انهدمت جدرانها على سقوفها، وبقيت خالية من أهلها بسبب ظلمهم، إنَّ فيما أصابهم من العذاب بسبب ظلمهم لعبرة لقوم يؤمنون، فهم الذين يعتبرون بالآيات.
अरबी तफ़सीरें:
इस पृष्ठ की आयतों से प्राप्त कुछ बिंदु:
• الاستغفار من المعاصي سبب لرحمة الله.

• التشاؤم بالأشخاص والأشياء ليس من صفات المؤمنين.

• عاقبة التمالؤ على الشر والمكر بأهل الحق سيئة.

• إعلان المنكر أقبح من الاستتار به.

• الإنكار على أهل الفسوق والفجور واجب.

 
आयत: (52) सूरा: सूरा अन्-नम्ल
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अरबी भाषा - अल-मुख़तर फ़ी तफ़सीर अल-क़ुरआन अल-करीम - अनुवादों की सूची

अल-मुख़तसर फ़ी तफ़सीर अल-क़ुरआन अल-करीम। अरबी भाषा में। मरकज़ तफ़सीर लिद-दिरासात अल-इस्लामिय्यह की ओर से निर्गत।

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