क़ुरआन के अर्थों का अनुवाद - الترجمة الهندية للمختصر في تفسير القرآن الكريم * - अनुवादों की सूची


अर्थों का अनुवाद आयत: (41) सूरा: सूरा अल्-क़लम
اَمْ لَهُمْ شُرَكَآءُ ۛۚ— فَلْیَاْتُوْا بِشُرَكَآىِٕهِمْ اِنْ كَانُوْا صٰدِقِیْنَ ۟
क्या उनके अल्लाह के सिवा कोई साझी हैं, जो उन्हें प्रतिफल में मोमिनों के बराबर ठहराते हैं?! तो उन्हें चाहिए कि अपने उन साझियों को ले आएँ, यदि वे अपने इस दावे में सच्चे हैं कि उन्होंने इन लोगों को प्रतिफल में मोमिनों के बराबर ठहराया है।
अरबी तफ़सीरें:
इस पृष्ठ की आयतों से प्राप्त कुछ बिंदु:
• منع حق الفقير سبب في هلاك المال.
• ग़रीब का हक़ रोकना, धन के विनाश का कारण है।

• تعجيل العقوبة في الدنيا من إرادة الخير بالعبد ليتوب ويرجع.
• दुनिया ही में बंदे को सज़ा देना उसका भला चाहने के तौर पर है ताकि वह तौबा कर ले और नेकी की ओर पलट आए।

• لا يستوي المؤمن والكافر في الجزاء، كما لا تستوي صفاتهما.
• मोमिन और काफ़िर प्रतिफल में बराबर नहीं हो सकते, जिस तरह कि उनकी विशेषताएँ समान नहीं होती हैं।

 
अर्थों का अनुवाद आयत: (41) सूरा: सूरा अल्-क़लम
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